Karm Hi Pooja Hai Essay in Hindi Language. Here you will get Paragraph and Short Essay on Work is Worship in Hindi Language for students of all Classes in 200 and 400 words. यहां आपको सभी कक्षाओं के छात्रों के लिए हिंदी भाषा में कर्म ही पूजा है पर निबंध मिलेगा।
Essay on Work is Worship in Hindi – कर्म ही पूजा है पर निबंध
Short Essay on Work is Worship in Hindi Language – कर्म ही पूजा है पर निबंध (200 words)
हमें अपने राजमर्रा की जिंदगी में बहुत से कार्य करते है। कार्य का अर्थ है कड़ी मेहनत और लगन से किया गया जाने वाला काम और अगर उसी मेहनत में श्रदा डाल दी जाए तो वह पूजा बन जाती है। मनुष्य का जीवन कार्य के बिना बिल्कुल व्यर्थ है। कर्म मनुष्य का सबसे बड़ा धर्म है और हर व्यक्ति को यह धर्म निभाना होता है। मनुष्य अगर कोई भी कार्य लग्न मेहनत और श्रदा से करे तो उसकी सफलता निश्चित है। बिना मन को किया हुआ कार्य कभी भी सफल नहीं होता है।
मनुष्य चाह कर भी कार्य किए बिना नहीं रह सकता है वह प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से बहुत से कार्य करता है। मनुष्य का कार्य ही उसकी पूजा है और मिलने वाली सफलता उस पूजा का फल है। काम करना मनुष्य की परिवर्ति है और विकास को कभी रोका नहीं जा सकता है। बड़े बड़े महा पुरूषों ने कर्म ही पूजा के मंत्र को माना है और उसी को अपनाकर सफलता को प्राप्त किया है। हमें भी इस मंत्र को अपनाना चाहिए और श्रदा और मेहनत के साथ अच्छे कार्य करने चाहिए। कर्म मनुष्य को शारिरिक और मानसिक रूप सै स्वस्थ रखते हैं।
Karm Hi Pooja Hai Essay in Hindi – Essay on Work is Worship in Hindi ( 400 words )
हम हर रोज अपनी दिनचर्या के हिसाब से बहुत से कार्य करते हैं और इसी कर्म को ही पूजा कहा गया है क्योंकि मनुष्य जो भी कर्म करता है वहीं उसकी पूजा है और उसी पूजा का फल उसे कुछ समय बाद प्राप्त होता है। काम के बिना मनुष्य का जीवन बहुत ही खाली सा है और वह जीवित नहीं रह सकता है। कर्म ही मनुष्य का सबसे बड़ा धर्म है। भगवान ने इंसान को दो हाथ और दो पैर भी दिए है जिसे देने का उद्देश्य है कि उनका प्रयोग काम करने के लिए किया जाए। मनुष्य को हर कार्य पूरे मन से कड़ी मेहनत और सच्ची लगन से करना चाहिए।
किया हुआ कार्य पूजा के समान होता है और मिलने वाली सफलता उसी पूजा का फल होती है। काम करने से विकास होता है और विकास को रोकना मुश्किल है। जो व्यक्ति पूरी लग्न से काम करता है वह सफलता को प्राप्त करता है और जो अधुरे मन से करता है उसे असफलता ही मिलती है। जब हम अपने काम करने की शक्ति में श्रदा डाल देते है तो वह पूजा बन जाती है और श्रदा पूर्ण किया गया कार्य कभी भी असफल नहीं होता है।
कर्म करना मनुष्य का कर्तव्य है और वह इसका पालन प्राचीन काल से ही करता आया है। पहले मनुष्य वानर हुआ करता था लेकिन मेहनत और श्रदा से उसमें निरंतर परिवर्तन हुए और उसका विकास हुआ। हर व्यक्ति अपनी इच्छा के अनुसार अलग कार्य चुनता है और हमेशा सफलता के लिए ही कार्य करता है। मनुष्य को काम तो करना ही चाहिए क्योंक् काम करने से वह शारिरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ रहता है। मनुष्य का जीवन काम के बिना बिल्कुल नीरस सा है।
हर व्यक्ति को हमेशा अच्छे कर्म करने चाहिए। अच्छे कर्म मनुष्य को सफलता दिलवाते हैं। मनुष्य का जीवन कर्मों से ही चलता है। उसके कर्म ही उसके संपूर्ण जीवन का लेखा जोखा रखते हैं। व्यक्ति प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से हर रोज बहुत से कार्य करता है। हमें काम करते रहना चाहिए जो कि हमारा सर्वश्रेष्ठ धर्म है। काम ही पूजा है यह बात सभी महापुरूष ही मानते आए हैं और इसी मंत्र को अपना कर वह सफल हुए हैं। हमें भी इसे अपनाना चाहिए और श्रदा के साथ काम करते रहना चाहिए। काम करना मनुष्य का धर्म है और इसे उसका पालन करना चाहिए।
हम आशा करते हैं कि आप इस निबंध ( Essay on Work is Worship in Hindi – कर्म ही पूजा है पर निबंध ) को पसंद करेंगे।
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